Rajasthan: अमित शाह ने अशोक गहलोत को दी चुनौती, ‘लाल डायरी’ मुद्दे पर इस्तीफा दे उतरें चुनाव के मैदान में
केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने शनिवार को 'लाल डायरी' के मुद्दे को लेकर राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर जमकर निशाना साधा। उनसे इस मुद्दे पर इस्तीफा देकर चुनाव मैदान में उतरने को कहा। इसके साथ ही शाह ने कहा कि केंद्र की भारतीय जनता पार्टी सरकार ने किसानों के लिए ढेरों काम किए हैं। शाह राजस्थान के गंगापुर सिटी शहर में ‘सहकार किसान सम्मेलन’ को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा, 'आजकल गहलोत साहब लाल डायरी से बहुत डर रहे हैं। क्यों डर रहे हैं भला... जरा बताओ तो राजस्थान वालों? ...डायरी का आगे का कलर लाल है, अंदर काले कारनामे छिपे हुए हैं। अरबों, करोड़ों रुपये के भ्रष्टाचार का कच्चा-चिट्ठा... उस लाल डायरी के अंदर है।' केंद्रीय मंत्री ने कहा, 'मैं गहलोत साहब से कहने आया हूं कि चंद लोग भेजकर नारे लगाने से कुछ नहीं होता... जरा भी शर्म बची है, तो लाल डायरी के मुद्दे पर इस्तीफा देकर चुनाव के मैदान में आइए... हो जाए दो-दो हाथ।'
शाह ने उठाया लाल डायरी का मुद्दा
अपने संबोधन के आखिर में उन्होंने कहा, 'घर में कोई भी डायरी हो, उसका रंग लाल मत रखना। गहलोत जी नाराज हो जाएंगे।' राजस्थान के बर्खास्त मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने 24 जुलाई को विधानसभा में कथित ‘लाल डायरी’ का मुद्दा उठाने की कोशिश की थी। इसके बाद सदन में ‘असहज दृश्यों’ के बीच उन्हें राज्य विधानसभा से निलंबित कर दिया गया था। शाह के संबोधन की शुरुआत में कुछ लोग नारेबाजी करते दिखाई दिए थे। गृह मंत्री ने उनकी तरफ इशारा करते हुए बाद में कहा, 'जो लोग नारे लगा रहे थे, मैं उनसे कहना चाहता हूं कि कि नारे लगाने की जगह चंद्रयान को आगे बढ़ाया होता, तो आज नारे लगाने की नौबत नहीं आती। सहकारिता मंत्रालय बनाया होता, किसानों का कल्याण किया होता, तो आज नारे लगाने की जरूरत नहीं पड़ती।'
सहकारिता मंत्री ने भी किया दावा
सहकारिता मंत्री ने दावा किया कि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार ने किसानों के लिए कुछ नहीं किया, जबकि भाजपा ने किसानों के लिए ढेर सारे काम किए और ढेर सारी योजनाएं लॉन्च कीं। उन्होंने कहा, 'कांग्रेस की सरकार थी, तो कृषि बजट 22 हजार करोड़ रुपये था, जिसे मोदी जी ने छह गुना बढ़ाकर एक लाख 25 हजार करोड़ रुपये कर दिया।' शाह ने कहा, '75 साल से देश के किसान अलग सहकारिता मंत्रालय की मांग कर रहे थे... प्रधानमंत्री मोदी जी ने उस मांग को पूरा कर अलग सहकारिता मंत्रालय बनाया। मोदी जी जब से प्रधानमंत्री बने हैं, ढेर सारे ऐसे काम जो देश में कभी नहीं हुए, वे अब हो रहे हैं।'
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